दासता के प्रतीक ‘INDIA’ शब्द को निकालें संविधान से: नरेश बंसल

India Name Is Symbol Of Colonial Slavery Should Be Change Demands Bjp Mp In Rajya Sabha
‘इंडिया’ नाम गुलामी का प्रतीक, इसे संविधान से हटाया जाए…राज्यसभा में भाजपा सांसद ने उठाई मांग

विपक्षी गठबंधन के I.N.D.I.A. नाम पर घमासान के बीच राज्यसभा में भाजपा के एक सदस्य ने देश का नाम इंडिया हटाकर सिर्फ भारत रखने की मांग की है। नरेश बंसल ने कहा कि इंडिया नाम गुलामी का प्रतीक है, इसे हटा देना चाहिए।

मुख्य बिंदु
राज्यसभा में भाजपा सांसद नरेश बंसल ने देश का नाम इंडिया हटाने की मांग की
बंसल ने कहा कि इंडिया नाम औपनिवेशिक दासता का प्रतीक है, हटा देना चाहिए
बंसल ने कहा कि देश का नाम सदियों से भारत है, सिर्फ यही नाम रहना चाहिए
नई दिल्ली 27 जुलाई : आने वाले लोकसभा चुनाव में सत्ताधारी नैशनल डेमोक्रेटिक अलायंस (NDA) का मुकाबला करने के लिए बने 26 विपक्षी दलों के गठबंधन का नाम I.N.D.I.A. (इंडियन नैशनल डिवेलपमेंटल इनक्लूसिव अलायंस) रखने का मुद्दा गरमाया हुआ है। इस बीच भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के एक सदस्य ने राज्यसभा में बृहस्पतिवार को देश के संविधान से इंडिया शब्द हटाए जाने की मांग उठाई।
उच्च सदन में भाजपा के सदस्य नरेश बंसल ने विशेष उल्लेख के जरिए यह मांग की और इंडिया नाम को औपनिवेशिक प्रतीक और दासता की बेड़ी करार दिया।

अपनी मांग के तर्क में बंसल ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के पिछले वर्ष 15 अगस्त को लालकिले की प्राचीर से किए गए राष्ट्र के नाम संबोधन का जिक्र किया, जिसमें उन्होंने देश को दासता के प्रतीक चिह्नों से मुक्ति का आह्वान किया था।
बंसल ने कहा कि पिछले नौ वर्ष में प्रधानमंत्री मोदी ने कई मौकों पर औपनिवेशिक विरासत और औपनिवेशिक प्रतीक चिह्नों को हटाने और उनकी जगह परंपरागत भारतीय प्रतीकों, मूल्यों और सोच को लागू करने की वकालत की है।
भाजपा सदस्य ने कहा कि अंग्रेजों ने भारत का नाम बदल कर इंडिया कर दिया। उन्होंने कहा कि स्वतंत्रता सेनानियों और बलिदानियों की मेहनत के कारण 1947 में देश आजाद हुआ और 1950 में संविधान में लिखा गया, ‘इंडिया दैट इज भारत (इंडिया जो कि भारत है)’।
उन्होंने कहा कि देश का नाम सदियों से भारत ही रहा है और इसी नाम से उसे पुकारा जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि भारत का अंग्रजी नाम इंडिया शब्द अंग्रेजों की गुलामी का प्रतीक है।
बंसल ने कहा कि आजादी के अमृतकाल में गुलामी के प्रतीक को हटाया जाए। उन्होंने मांग की कि संविधान के अनुच्छेद एक में संशोधन कर ‘इंडिया दैट इज’ हटाया जाए और इस पुण्य पावन धरा का नाम भारत रखा जाए। उन्होंने कहा कि भारत माता को (इंडिया) नाम रूपी इस दासता की बेड़ी से मुक्त किया जाए।

भाजपा सांसद ने यह मांग ऐसे समय में की है जब विपक्षी दलों ने एकजुट होते हुए अपने गठबंधन का नाम ‘इंडिया’ रखा है।
प्रधानमंत्री मोदी ने पिछले दिनों ‘इंडिया’ की तुलना इंडियन मुजाहिद्दीन और पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया जैसे आतंकी संगठनों से करते हुए कहा कि नाम बदल लेने मात्र से किसी के चरित्र में परिवर्तन नहीं हो जाता है।
विदेश मंत्री डॉक्टर एस. जयशंकर ने भी बृहस्पतिवार को विपक्षी गठबंधन पर निशाना साधा। राज्यसभा में उनके एक बयान के दौरान हंगामा करने और सदन की कार्यवाही बाधित करने पर उन्होंने कहा कि विपक्षी सदस्य ‘इंडिया’ (विपक्षी गठबंधन का नाम) होने का दावा करते हैं, लेकिन अगर वे भारत के राष्ट्रीय हितों के बारे में सुनने के लिए तैयार नहीं हैं तो वे किस तरह के इंडिया हैं?
संसद के मौजूदा सत्र में कई बार यह देखा गया कि जब सत्ता पक्ष के सदस्य सदन में मोदी-मोदी के नारे लगाते हैं विपक्षी सदस्य ‘इंडिया’-‘इंडिया’ के नारे लगाते हैं।

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