फैक्ट चैक: सफ़ेद झूठ है मस्जिद पर भगवा झंडा फहराने की बात

फैक्ट चेक: बजरंग दल ने करौली की मस्जिद में नहीं फहराया भगवा झंडा, ये फोटो कैला देवी मंदिर की है

सफेद गुम्बदों वाली इमारत पर कई भगवा झंडे लहरा रहे हैं. दावा किया जा रहा है कि ये राजस्थान स्थित करौली की वही मस्जिद है जहां से हाल ही में हुई हिंसा के दौरान पत्थर फेंके गए थे. उसी घटना का बदला लेने के लिए अब बजरंग दल ने वहां भगवा झंडे फहरा दिए हैं.

ये तस्वीर सोशल मीडिया पर काफी वायरल है.

ज्योति द्विवेदी

नई दिल्ली,26 अप्रैल 2022,।सफेद गुम्बदों वाली एक इमारत की तस्वीर सोशल मीडिया पर काफी वायरल है. इमारत पर कई भगवा झंडे लहरा रहे हैं. ऐसा कहा जा रहा है कि ये राजस्थान स्थित करौली की वही मस्जिद है जहां से हाल ही में हुई हिंसा के दौरान पत्थर फेंके गए थे. उस घटना का बदला लेने के लिए अब बजरंग दल ने वहां भगवा झंडे फहरा दिए हैं.

एक इंस्टाग्राम यूजर ने इस फोटो को पोस्ट करते हुए लिखा, “करोली राजस्थान जिस मस्जिद से पत्थर फेंके गए थे…! उसी मस्जिद पर चढ़कर बंजरग दल ने भगवा लहराया…! जय श्री राम”

हमने पाया कि ये फोटो न तो हाल-फिलहाल की है और न ही इसका करौली, राजस्थान की हटवाड़ा रोड में हुई हालिया हिंसा से कुछ लेना-देना है. ये करौली जिले के कैलादेवी मंदिर की करीब नौ साल पुरानी फोटो है. मंदिर प्रशासन के अधिकारियों ने इसकी पुष्टि की है.

बजरंग दल के करौली जिला संयोजक रजनीश शर्मा ने हमें बताया कि उनकी संस्था के मस्जिद में भगवा झंडा फहराने की बात कोरी अफवाह है.

कैसे पता लगाई सच्चाई?

सबसे पहले हमने इस फोटो को तस्वीरें खोजने वाली वेबसाइट ‘टिनआई’ की मदद से रिवर्स सर्च किया. ‘टिनआई’ में किसी तस्वीर का सबसे पुराना वर्जन, सर्च रिजल्ट में सबसे ऊपर देखने का विकल्प होता है. ऐसा करने से हमें पता लगा कि ये तस्वीर कम से कम साल 2013 से इंटरनेट पर मौजूद है. हालांकि अब 2013 वाला वो वेब पेज खुल नहीं रहा है.

हमें ये फोटो ‘एलेमी’ , ‘एडोब’ और ‘बिगस्टॉकफोटो’ जैसी कई स्टॉक इमेज वेबसाइट्स में भी मिली. सभी जगह यही लिखा है कि ये करौली की तस्वीर है. हालांकि ये कहीं भी नहीं बताया गया है कि फोटो में दिख रही गुंबद वाली सफेद इमारत कौन-सी है. सभी जगह इस फोटो का क्रेडिट ‘PRILL Mediendesign’ नाम की एक जर्मन विज्ञापन व फोटो एजेंसी को दिया गया है.

हमने गूगल मैप पर मौजूद कैला देवी मंदिर की तस्वीरों को खंगाला तो उनमें और वायरल फोटो में कई समानताएं नजर आईं. गुंबद का डिजाइन, गुंबद के पास बनी पीले शेरों की आकृतियां और खिड़कियों का आकार तक एक जैसा है.

क्या कहना है कैला देवी मंदिर प्रशासन का?

हमने वायरल फोटो कैला देवी मंदिर, करौली के एक अधिकारी चंद्रकांत को भेजी. उन्होंने इस बात की पुष्टि की कि ये फोटो कैला देवी मंदिर की ही है, हालांकि ये काफी पुरानी है. साथ ही, उन्होंने ये भी कहा कि इस फोटो का हालिया करौली हिंसा से कुछ लेना-देना नहीं है. हटवाड़ा नाम के जिस मुस्लिम बहुल इलाके की मस्जिद के पास ये विवाद हुआ था, उससे कैला देवी मंदिर की दूरी तकरीबन 25 किलोमीटर है.

मस्जिद में झंडा फहराने की बात अफवाह है: बजरंग दल

हमने इस तस्वीर के बारे में बजरंग दल का पक्ष जानने के लिए बजरंग दल करौली के जिला संयोजक रजनीश शर्मा से संपर्क किया. रजनीश ने हमें बताया कि ये बात पूरी तरह झूठ है. वो कहते हैं, “2 अप्रैल की घटना के तुरंत बाद ही इलाके में कर्फ्यू लग गया था. 500-600 पुलिसवाले लगातार पहरा दे रहे थे. फिर भला हम कैसे मस्जिद में भगवा झंडा फहराएंगे?”

जाहिर है, कैला देवी मंदिर की एक पुरानी फोटो को हालिया करौली हिंसा से जोड़कर भ्रम फैलाया जा रहा है.

(इनपुट: गोपाल लाल माली)

फैक्ट चेक

सोशल मीडिया यूजर्स

दावा

ये राजस्थान के करौली शहर की उसी मस्जिद की फोटो है, जहां से से हाल ही में हुई हिंसा के दौरान पत्थरबाजी की गई थी. बजरंग दल के सदस्यों ने इस मस्जिद पर चढ़कर भगवा झंडा फहरा दिया.

निष्कर्ष

ये किसी मस्जिद की नहीं, बल्कि करौली के कैलादेवी मंदिर की फोटो है. बजरंग दल के मस्जिद में भगवा झंडा फहराने की बात भी झूठ है.

दूसरी खुराफात

मस्जिद पर चढ़कर भगवा लहराने का यह वीडियो करौली राजस्थान नहीं, उत्तर प्रदेश  का है

अंशुल सिंह

मस्जिद पर चढ़कर भगवा लहराने का यह वीडियो करौली राजस्थान नहीं, यूपी का है
वायरल वीडियो का स्क्रीनशॉट.

दावा

राजस्थान के करौली में हुई हिंसा के बाद इलाके में तनाव का माहौल बना हुआ है. वर्तमान हालात को देखते हुए करौली डीएम राजेंद्र सिंह शेखावत ने सात अप्रैल तक इलाके में कर्फ्यू लगा दिया है. इस बीच सोशल मीडिया करौली हिंसा से जुड़े वीडियो और तस्वीरों से भर गया है. इनमें से कुछ वीडियो सही हैं तो कुछ गलत. ऐसा ही एक वीडियो है जिसमें मस्जिद के बाहर भीड़ खड़ी है और जय श्री राम के नारे लगाए जा रहे हैं. साथ ही वीडियो में एक युवक मस्जिद के दरवाजे के ऊपर खड़ा होकर भगवा झंडा भी लहरा रहा है. इस वायरल वीडियो को लोग करौली से जोड़कर शेयर कर रहे हैं.
पत्रकार ने राना अय्यूब ने वायरल वीडियो को अपने इंस्टाग्राम पर पोस्ट करते हुए लिखा,

ट्रिगर वॉर्निंग: हिंदू कट्टरपंथियों ने राजस्थान के करौली में एक मस्जिद के ऊपर भगवा झंडा लहराते हुए जय श्री राम का नारा लगाया.

राना अय्यूब के इंस्टाग्राम पोस्ट का स्क्रीनशॉट.

इसके अलावा कई और सोशल मीडिया यूज़र्स ने इसी से मिलते जुलते दावों के साथ वायरल वीडियो को शेयर किया है.

पड़ताल

 

वायरल वीडियो की सच्चाई जानने के लिए हमने पड़ताल की. हमारी पड़ताल में वायरल दावा गलत निकला. वायरल वीडियो राजस्थान के करौली का नहीं बल्कि यूपी के गाजीपुर का है.

वायरल वीडियो को लेकर सबसे पहले हमें करौली डीएम के ट्विटर अकाउंट पर 4 अप्रैल 2022 का एक ट्वीट किया. डीएम करौली ने अपने ट्वीट में वायरल वीडियो के करौली से न जुड़े होने की पुष्टि की है.

 

इसके बाद हमने ट्विटर पर ‘मस्जिद में भगवा‘ की-वर्ड्स लिखकर सर्च किया तो हमें सैय्यद उज़मा परवीन के ट्विटर अकाउंट पर 3 अप्रैल का ट्वीट मिला जिसमें वायरल वीडियो देखा जा सकता है, उज़मा ने वायरल वीडियो को गाजीपुर के गहमर का बताया है. (आर्काइव)

उज़मा ने इसके बाद 4 अप्रैल को वायरल वीडियो से जुड़ा एक और ट्वीट किया. ट्वीट में उमरा ने वायरल वीडियो में दिखती मस्जिद की तस्वीरें शेयर की. (आर्काइव)

घटना की जानकारी को हमने गाजीपुर में मौजूद पत्रकार विनय कुमार सिंह से संपर्क किया. विनय ने वायरल वीडियो के गाजीपुर के गहमर गांव के होने की पुष्टि की .

घटना की विस्तृत जानकारी को हमने गहमर निवासी मुर्तजा अंसारी से संपर्क किया. मुर्तजा अंसारी के मुताबिक,‘वायरल वीडियो में दिखती घटना 2 अप्रैल की है, जब गांव में हिन्दू संगठनों ने नवरात्रि का जुलूस निकाला था. जुलूस गांव के दक्षिणी मोहल्ला से होकर निकला तो जुलूस में मौजूद कुछ असामाजिक तत्वों ने मस्जिद में भगवा लहरा धार्मिक नारे लगाए. इनमें से एक युवक मस्जिद के दरवाजे पर चढ़ झंडा लहराने लगा. वे लगभग 5 मिनट वहां रुके और इस दौरान किसी तरह की कोई हिंसा नहीं हुई. मस्जिद में कुछ रंग वगैरह जरूर लगा जिसे बाद में हमने धोकर नमाज़ पढ़ी.’

घटना के बारे में और अधिक जानकारी को हमने गाजीपुर पुलिस अधीक्षक (एस.पी.) राम बदन सिंह से संपर्क किया. उन्होंने बताया,

‘वायरल वीडियो राजस्थान के करौली का न होकर गाजीपुर के गहमर गांव का है. 2 अप्रैल, दिन शनिवार की शाम गहमर में कुछ लोगों ने जुलूस निकाला था. इस बीच जुलूस में मौजूद कुछ अति उत्साही युवक गहमर की दक्षिणी जामा मस्जिद में घुस धार्मिक नारे लगाने लगे. पुलिस ने वायरल वीडियो के आधार पर स्वत: संज्ञान लेते हुए अज्ञात लोगों पर IPC की धारा 153(A) में मुकदमा दर्ज किया है.मुकदमा संख्या 76/2022 है.’

 

 

नतीजा

हमारी पड़ताल में वायरल वीडियो से जुड़ा दावा गलत साबित हुआ. वायरल वीडियो राजस्थान के करौली का नहीं बल्कि उत्तर प्रदेश के गाजीपुर का है. गाजीपुर SP राम बदन सिंह ने वीडियो के गाजीपुर में मौजूद गहमर गांव से जुड़े होने की पुष्टि की है.

मस्जिद पर चढ़कर भगवा लहराने का यह वीडियो करौली राजस्थान नहीं, उत्तर प्रदेश का है

दावा

हिंदू कट्टरपंथियों ने राजस्थान के करौली में एक मस्जिद के ऊपर भगवा झंडा लहराते हुए जय श्री राम का नारा लगाया.

नतीजा

वायरल वीडियो राजस्थान के करौली का नहीं बल्कि उत्त्तर प्रदेेश के गाजीपुर का है. गाजीपुर SP राम बदन सिंह ने वीडियो के गाजीपुर में मौजूद गहमर गांव से जुड़े होने की पुष्टि की है।

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