धाकड़ फैसला: सुधीर बिंदलास पर भूमाफिया की मुहर, सीबीआई जांच को पत्र

जमीनों के फर्जीवाड़े को लेकर उत्तराखंड सरकार की सख्ती, बिल्डर सुधीर विंडलास के खिलाफ सीबीआई जांच की सिफारिश
उत्तराखंड सरकार ने बिल्डर सुधीर कुमार विंडलास और उनके मैनेजर प्रशांत के खिलाफ सीबीआई जांच की सिफारिश की है। गृह विभाग ने केंद्रीय कार्मिक लोक शिकायत तथा पेंशन मंत्रालय को यह पत्र भेजा है।
देहरादून10 अक्टूबर।उत्तराखंड सरकार ने बिल्डर सुधीर कुमार विंडलास और उनके मैनेजर प्रशांत के खिलाफ सीबीआई जांच की सिफारिश की है। गृह विभाग ने केंद्रीय कार्मिक लोक शिकायत तथा पेंशन मंत्रालय को यह पत्र भेजा है। अपर पुलिस महानिदेशक अपराध एवं कानून व्यवस्था की ओर से मिली रिपोर्ट के आधार पर सरकार ने यह फैसला लिया है।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के अनुमोदन के बाद अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने यह आदेश किए हैं। बिल्डर सुधीर विंडलास और उनके मैनेजर प्रशांत पर फर्जी दस्तावेज तैयार कर ग्राम जोहड़ी गांव में भूमि पर अवैध कब्जा करने का आरोप है। उनके खिलाफ देहरादून राजपुर थाने में आईपीसी की धारा 420, 447, 467, 468, 471, 120 बी के तहत तीन-तीन मुकदमे दर्ज हैं। इस पूरे मामले से जुड़े सभी दस्तावेज भी केंद्र सरकार को भेज दिए गए हैं।

विंडलास पर राजपुर थाने में ये सभी केस दिव्यांग कर्नल सोबन सिंह दानू ने दर्ज कराए थे। दानू कश्मीर में आतंकियों के खिलाफ एक सैन्य आपरेशन में घायल हो गए थे। राज्य सरकार ने उन्हें यह जमीन आवंटित की थी। दानू ने सुधीर विंडलास पर उनकी जमीन को फर्जी तरीके से अपने नाम पर कराने का आरोप लगाया था। विंडलास का हाउसिंग प्रोजेक्ट के साथ ही नकरौंदा में खुखरी फैक्ट्री भी है।

शासन ने उद्योगपति सुधीर विंडलास और उनके मैनेजर प्रशांत व अन्य पर देहरादून के जोहड़ी गांव में जमीन हड़पने के मामले में दर्ज चार मुकदमों की जांच सीबीआइ से कराने का निर्णय लिया है। शासन ने जांच की संस्तुति करते हुए केंद्रीय कार्मिक, लोक शिकायत व पेंशन मंत्रालय को पत्र लिखकर इसकी जांच सीबीआइ से कराने के संबंध में अग्रेतर कार्यवाही करने का अनुरोध किया है।

धोखाधड़ी और जालसाजी के मुकदमे दर्ज

देहरादून की राजपुर पुलिस ने इसी वर्ष जनवरी में उद्योगपति सुधीर विंडलास और उनके सहयोगियों पर धोखाधड़ी और जालसाजी के आरोप में मुकदमा दर्ज किया था। आरोप है कि उन्होंने अपने कर्मचारियों के साथ मिलकर जमीन को फर्जी दस्तावेजों के आधार पर कब्जा लिया।

जोहड़ी गांव में है करीब 20 बीघा जमीन

इस मामले में शिकायतकर्त्‍ता संजय चौधरी ने कहा था कि जोहड़ी गांव में करीब 20 बीघा जमीन है। वर्ष 2009 में सुधीर विंडलास ने उनसे जमीन बेचने के लिए संपर्क किया। मना करने पर सुधीर विंडलास ने कर्मचारियों के साथ मिलकर जमीन अपने मैनेजर के नाम दर्ज करवा दी।

सरकारी जमीन पर कब्जा करने का भी आरोप

आरोपित पर सरकारी जमीन पर कब्जा करने का भी आरोप है। पूर्व में एसआइटी जांच में आरोपित को दोषी पाया गया था, लेकिन उन पर मुकदमा दर्ज नहीं हो सका। इस पर पुलिस ने सुधीर विंडलास के नाम मुकदमा दर्ज कर दिया।

मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस मुख्यालय ने इसकी जांच सीबीआइ से कराने का अनुरोध किया था। इस पर शासन ने सुधीर विंडलास पर दर्ज चार पुराने मुकदमों की सीबीआइ जांच कराने का निर्णय लिया है।

अपर मुख्य सचिव गृह राधा रतूड़ी ने इस संबंध में केंद्रीय कार्मिक विभाग को पत्र लिखा है। इसमें उन्होंने चार मुकदमों का हवाला देते हुए मामले की जांच सीबीआइ से कराने के लिए कार्यवाही करने का अनुरोध किया है।

राजस्व विभाग अलग से करा रहा है जांच

सरकारी जमीन कब्जाने, खुर्द बुर्द करने, सीलिंग एक्ट के तय प्रावधानों से अधिक भूमि एकत्र करने से जुड़ी तमाम शिकायतों को लेकर भी सरकार की ओर से जांच कराई जा रही है। सचिव राजस्व के आदेश पर नगर आयुक्त देहरादून की अध्यक्षता में तीन सदस्य कमेटी का गठन किया गया। इस कमेटी में बतौर सदस्य सचिव एमडीडीए, उप जिलाधिकारी डोईवाला भी शामिल किए गए। समिति को 15 दिन के भीतर अपनी रिपोर्ट देनी है।

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